आज के समय में भी दहेज़ प्रथा नाम की बुराई हर जगह फैली हुई है। पिछड़े भारतीय समाज में दहेज़ प्रथा अभी भी विकराल रूप में है। आज भी कई जगह दहेज में वस्तुओं के न मिलने से वर पक्ष शादी करने से इनकार कर देते है। आज हम आपको एक ऐसी ही घटना के बारे में बताएंगे जहां मनचाही बाइक न मिलने से नाराज दूल्हा बरात लेकर लौट गया। किसी तरह से पंचायत कराने के बाद मंदिर में उनकी शादी हो पाई।
कहाँ कि है यह घटना?
उत्तर प्रदेश के कुशीनगर के कोतवाली के ढाढ़ा मोहल्ले की यह घटना है। गुरुवार की रात में हाटा नगर पालिका के ढाढ़ा मोहल्ले में बजरंगी प्रसाद की बेटी गिरजा की शादी के लिए गोरखपुर जनपद के सरदार नगर से बड़ी धूमधाम से बरात आई थी। जलपान के बाद जयमाला का कार्यक्रम हो चुका था।

बगैर शादी के वापस लौटा।
जयमाला के बाद अलग तरह का ड्रामा शुरू हो गया। यहां मनचाही बाइक नहीं मिलने से नाराज दूल्हा जयमाला के बाद बगैर शादी के ही बरातियों के साथ वापस लौट गया। रात में कई बार लड़की पक्ष के लोगों ने मान-मनौव्वल का प्रयास किया लेकिन बात नहीं बन पाई।

पुलिस की मदद लेनी पड़ी।
मामला इतना बढ़ गया है कि वधु पक्ष को पुलिस का सहारा लेना पड़ा। पुलिस आई और दोनों पक्षों को थाने बुलाकर पंचायत कराई गई। दोपहर बाद मंदिर में शादी की रस्म पूरी कराई गई। कन्या पक्ष जहां बाइक को लेकर बात बिगड़ने की बात कह रहा था तो वर पक्ष कम गहने लाने को लेकर कहासुनी की बात कह रहा था।

बाद में हुई शादी।
दोनों पक्षों को बैठाकर समझाया गया। दोनों पक्ष शादी के लिए राजी हो गए। दोनों पक्षों ने गलती सुधारते हुए फिर से शादी पर सहमति जताई। इसके बाद हाटा नगर के विश्वकर्मा मंदिर में दोनों पक्ष के लोगों की मौजूदगी में विवाह संपन्न कराया गया।